Thursday, June 12, 2025
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विकसित कृषि संकल्प अभियान खरीफ-2025 के तहत ब्लॉक मुख्यालय बीरोंखाल में जागरूकता कार्यक्रम का आयोजन

  • भारत सरकार के प्रतिनिधियों ने काश्तकारों की समस्याओं का किया समाधान
  • कृषि विभाग की योजनाओं से काश्तकारों को कराया रूबरू
    देहरादून। भारत सरकार के कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय के तत्वावधान में चलाए जा रहे विकसित कृषि संकल्प अभियान खरीफ-2025 के अंतर्गत एक दल ने जनपद पौड़ी के सुदूरवर्ती विकासखंड वीरोंखाल में पहुंचकर किसानों के साथ संवाद किया। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य आधुनिक और वैज्ञानिक कृषि पद्धतियों के माध्यम से किसानों की आय में वृद्धि, प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण, और जलवायु अनुकूल खेती को बढ़ावा देना है। कृषि मंत्रालय के उप सचिव (विस्तार) अनूप सिंह बिष्ट के नेतृत्व में पहुंचे दल ने किसानों को उनकी मातृभाषा गढ़वाली में संवाद कर अभियान की जानकारी दी। बिष्ट ने किसानों को सरकार की कृषि योजनाओं, नई तकनीकों, उन्नत बीजों, जल प्रबंधन, जैविक खेती की वैज्ञानिक विधियों, और नवीन कृषि शोधों के बारे में विस्तार से बताया। दल में उप निदेशक श्रीमती एस. भानमती और क्षेत्रीय गृह अर्थशास्त्री जिस्नु के. जे. भी शामिल थे। अनूप सिंह बिष्ट ने कहा, “प्रधानमंत्री जी के ‘लैब टू लैंड’ नारे के तहत हम कृषि शोध को खेतों तक पहुंचाने के लिए प्रतिबद्ध हैं। केंद्रीय कृषि मंत्री किसानों की आय वृद्धि के लिए इस तरह के अभियानों को महत्वपूर्ण मानते हैं और स्वयं इसमें सक्रिय हैं।
    इस अवसर पर उप सचिव अनूप बिष्ट ने कहा कि काश्तकारों का उत्पादन बढ़ाने के लिए देश के हर कोने में अभियान चल रहा है। आईसीएआर की रिसर्च का लाभ काश्तकारों को मिले, इसके लिए जनता को जागरूक किया जा रहा है। साथ ही जनता के साथ सीधा संवाद किया जा रहा है। उन्होंने कृषि मंत्रालय के माध्यम से चलाई जा रही योजनाओं की जानकारी दी।
    उप निदेशक श्रीमती एस. भानमती ने कहा कि कृषि से जुड़े रहना वर्तमान समय की आवश्यकता है। हमें सुनिश्चित करना है कि किसान लाभ वाली फसल लगाएं तथा योजनाओं का लाभ उठाना सीखें।
    क्षेत्रीय गृह अर्थशास्त्री जिस्नु ने कहा कि सरकार आतमा परियोजना के तहत प्रशिक्षण देकर किसानों की आय में वृद्धि कर रही है। साथ ही गुणवत्तापूर्ण फसलों के उत्पादन की तरफ भी किसानों को प्रोत्साहित कर रही है।
    इस दौरान काश्तकारों ने चकबंदी लागू करने की मांग की। काश्तकारों ने कृषि उपकरणों की खरीद में समस्या, बेहतर नर्सरी की अनुपलब्धता, काश्तकारों को पंतनगर विश्वविद्यालय के बजाय स्थानीय स्तर पर भरसार विश्वविद्यालय में प्रशिक्षण की व्यवस्था, सब्सिडी का भुगतान न होने सहित अन्य समस्याएं रखी।
    गौरतलब है कि भारत सरकार की ओर से उत्तराखंड में व्यापक स्तर पर किसानों को जागरूक करने के लिए विकसित कृषि संकल्प अभियान चलाया जा रहा है। इस अभियान का उद्देश्य आधुनिक एवं वैज्ञानिक कृषि पद्धतियों के माध्यम से किसानों की आय में वृद्धि करना, प्राकृतिक संसाधनों का संरक्षण करना तथा जलवायु अनुकूल खेती को बढ़ावा देना है।
    आपको बता दें कि विकसित कृषि संकल्प अभियान खरीफ 2025 के भारत सरकार की एक टीम पौड़ी जनपद पहुंची है। इसके तहत इस टीम ने 10 जून 2025 को पौड़ी जनपद के बीरोंखाल ब्लॉक में किसानों से संवाद और समीक्षा बैठक ली है. जबकि 11 जून 2025 को यह टीम देवराड़ी देवी पौखड़ा में खंड स्तरीय कार्यक्रमों के आयोजन में प्रतिभाग करेगी । इन कार्यक्रमों में भारत सरकार के प्रतिनिधि अनूप सिंह बिष्ट (उप सचिव, विस्तार, कृषि एवं किसान कल्याण मंत्रालय), श्रीमती एस. भानमती (उप निदेशक) और जिस्नु के. जे. (क्षेत्रीय गृह अर्थशास्त्री) प्रतिभाग कर किसानों को कृषि संबंधित योजनाओं,नई कृषि तकनीकों, बीजों की उन्नत किस्मों, नवाचार,जल प्रबंधन, जैविक खेती और बाजार संपर्क जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर मार्गदर्शन देंगे साथ ही उनकी समस्याओं का समाधान भी करेंगे. इसके साथ ही अधिकारियों संग विकसित कृषि संकल्प अभियान खरीफ 2025 की समीक्षा भी की जाएगी।
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