
प्रदेश में बिजली दरों में बेतहाशा बढ़ोतरी का टैरिफ प्रस्ताव ऑनलाइन होने के साथ ही यूपीसीएल के दावों की पोल भी खुल गई। यूपीसीएल संशोधित प्रस्ताव भेजने के बाद भी केवल 7.72 प्रतिशत बढ़ोतरी का ही दावा कर रहा था।दरअसल, नियामक आयोग ने यूपीसीएल को 6.5 प्रतिशत सरचार्ज हटाकर प्रस्ताव भेजने को कहा था।
26 दिसंबर को जब प्रस्ताव भेजा गया तो ‘अमर उजाला’ ने 16.96 प्रतिशत बढ़ोतरी की खबर 27 दिसंबर के अंक में ‘बेतहाशा महंगी हो सकती है बिजली, यूपीसीएल ने भेज दिया नया प्रस्ताव’ शीर्षक से प्रकाशित की थी। इसके बाद यूपीसीएल ने दावा किया था कि नए प्रस्ताव में 7.72 प्रतिशत बढ़ोतरी ही शामिल है, इसमें कोई बदलाव नहीं किया गया है।इस दावे के हिसाब से यूपीसीएल ने मीडिया को भी भ्रमित किया। ‘अमर उजाला’ ने सवाल उठाया था कि अगर सरचार्ज 6.5 प्रतिशत कम कर दिया तो भी 7.72 प्रतिशत बढ़ोतरी कैसे हो सकती है ? नियामक आयोग ने टैरिफ का प्रस्ताव ऑनलाइन किया तो यूपीसीएल के दावों की पोल खुल गई। साफ हो गया कि यूपीसीएल ने लिखित में 16.96 प्रतिशत बढ़ोतरी की मांग की है।
यह है प्रस्तावित टैरिफ